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धीरे धीरे शाम के गहराने के साथ अदा ने महसूस किया की रणबीर के दिखा हैं । उस पर सामान्य से कुछ ज्यादा देर तक टिकने लगी थी । उसे आज शादी हुआ लेकिन फिर वो हमेशा से जानती थी रणबीर को डेट करना शुरू करने के पहले से कि वह उसे ज्यादा प्यार करता था । वो उसे खुश करने के लिए हमेशा कुछ अतिरिक्त करने के लिए तैयार रहता था और था उसे पाकर खुश थी । एक घंटे बाद रणवीर और ज्यादा वैलेट पार्किंग के लिए चाबियां देकर ऍम के मुख्यद्वार की ओर पढ रहे थे । अदा के पैरेंट्स आउट तो टेबल पर बैठे थे और दोनों को अंदर आता देख रहे थे । उसके पापा एक जहरीले साहब की तरह लग रहे थे जो रणवीर को काटकर मार डालना चाहता था । हाय बच्चों उन्होंने कहा मुझे खुशी है कि तुम लोग आप आएंगे । अदा अपने मम्मी पापा से कसकर गले मिले और फिर उनसे रनवीर का परिचय कराया । आप लोग रनवीर से मिल चुके हैं । है ना एयरपोर्ट । उसके पापा ने साहस था से कहा लेकिन उसको दो साल हो चुके हैं और फिर उस दिन हम कई लोगों से मिले थे । कैसा चल रहा है रणवीर अच्छा चल रहा है शुक्रिया । आप लोग कैसे हैं? उसने पूछा वो अभी भी थोडा घबरा रहा था । चल हम लोग भी अच्छे रणवीर तुमसे मिलकर खुशी हुई । अदा की । मैंने कहा और रेस्टोरेंट की ओर मुड गई । चले हम लोग । हाँ हाँ बिलकुल । उसने कहा । और उसे एहसास हुआ कि उसने अभी तक उन्हें भूके नहीं दिया था । अदा नहीं । उसे बुके देने का इशारा किया । ये आपके लिए है । उसने कहा और बुके अदा की । मम्मी को दे दिया । उन्होंने मुस्कुराकर बुकें ले लिया । ऍम बहुत सुंदर है । वो रेस्टोरेंट के अंदर जाकर एक टेबल पर आराम से बैठ गए । जहाँ से समुद्र का दृश्य आप दिखाई दे रहा था । अदा शर्माती हुई अपनी माँ के पास बैठ गई । उसके बाद ही उसकी वो छुपकर उसका माथा छीन लिया । पांच लम्बे मिंटो तक वे परिवार और अन्य चीजों के बारे में बात करते रहे और कभी बेटर वाइन ले आया । उस पूरे समय के दौरान रणवीर मुस्कुराता रहा । अच्छा रणवीर सब तुम्हारी बारी और ये आएंगे पूछताछ की बारी । उसने कहा तो सब हंसने लगे । अच्छा अच्छा । हम तुम्हारी नौकरी के बारे में तो जानते हैं, क्योंकि ज्यादा हमें उसके बारे में पहले ही बता चुकी है । लेकिन मैं तुम्हारे बारे में थोडा बहुत और जानना पसंद करूंगा । इस बात के अलावा की तुम एक उपन्यास लिख रहा हूँ । शायद यही सब कुछ होगा जो मैं अपने बारे में कहना चाहता हूँ । तुम्हारी भविष्य के लिए योजनाएं हैं तो अपना पोस्टग्रेजुएशन कब करोगे हो? मैं दोबारा कॉलेज नहीं जाने वाला हूँ । रणवीर में ये बात बहुत विश्वास के साथ रही थी क्योंकि भले ही उसे ये नहीं पता था कि वह क्या करना चाहता है लेकिन वो ये निश्चित रूप से जानता था कि उसे क्या नहीं करना था । वो अदा की माँ बोली क्या? तो मुझे नहीं लगता कि तुम्हें उस की जरूरत है नहीं मैं ये नहीं कह रहा हूँ । मेरा मतलब है मैंने कैट की परीक्षा दी थी । नहीं नहीं मैं कहूंगा की तो मैं उसे निराश नहीं होना चाहिए । मेरा मतलब है हर कोई उस परीक्षा में सफल नहीं हो सकता है । ये कभी मुश्किल होती है । अदा के पापा ने ये सोचकर बीच में टोका कि वो कैट में असफल रहा । वेल मेरे टोमॅटो थे । उसने शर्माते हुए का इस कोशिश के साथ वो अभी मानी ना लगे ये तो बहुत ही बढिया स्कोर है । तब भी ऐसे स्कोर के साथ तो नहीं आई आई एम में एडमिशन मिल सकता है । उसके मारे साफ साफ फहराने के साथ कहा शायद लेकिन मुझे फॅस लिखना पसंद हैं और मेरा परिवार मेरे साथ है । बहुत अच्छी बात है और इसमें कुछ गलत भी नहीं । अदा के पापा बोले था मुझे बहुत ज्यादा की जरूरत नहीं है । अच्छा खाना, मेरा परिवार, मेरे दोस्त और एक अच्छी लडकी जिसके पास मैं घर लौट ये आज के मॉडर्न समय की फॅमिली । लेकिन क्या मैं तुम्हें एक सलाह दे सकता हूँ? हर नहीं पापा अदा नहीं होगा । उन्होंने उसके टूटने पर ध्यान नहीं दिया और अपनी बात चाहते रखी । मैं कैसे आदमी के रूप में बोल रहा हूँ जैसे काम करते हुए तीस साल से ज्यादा हो गए । उन्होंने कहा, और रणवीर मुस्कुराकर बोला जी बिल्कुल । वे आगे बोले, किसी चीज के लिए जुनून होना अच्छी बात है । लेकिन जीवन में सिर्फ जुनून की जरूरत नहीं हूँ । आपको और चीजों की भी जरूरत होती है । जैसे मुंबई में आपका एक फ्लाइट, एक शानदार कार, एक अच्छे जीवन शैली और समाज में एक अच्छी ऍम जो आपको सब उपन्यास लिखकर नहीं मिल सकती है । रणवीर पहचानी और असहमती में अपनी गोद में रखे उंगलियाँ थक आने लगा । मैं समझ गया मुझे विश्वास है कि एक दिन मेरे पास ये सभी चीजें । लेकिन फिर भी मेरा मानना है कि इंसान का जुनून पहले आता है । आप समझ रहे हैं अगर जुनून पूरा हो जाता है तो आप सबसे ज्यादा खुश होते हैं और अंत में उससे ज्यादा महत्वपूर्ण क्या हो सकता है । हालांकि पापा असहमति में एक बनावटी हंसी जानते हैं । मैंने ये सब अपनी आंखों से देखा है । मैं जानता हूँ कि सबका पूरा होने पर कैसा महसूस होता है और ये भी जानता हूँ इस अपना पूरा न होने पर कैसा महसूस होता है । इसलिए मैं पहले अपने सपने के पीछे जाना पसंद करूंगा । रणवीर नहीं सोचते हुए कहा तो तुम पहले भी अपने सपनों का पीछा कर चुके हो । अदा के पापा ने पूछा नहीं तो वह मुस्कुराया लेकिन मेरे दोस्तों ने किया है । एक पायलट बनने का सपना देखता था दूसरा न्यूज एंकर बनने का और ये समझ में भी आता था । मैं जानता हूँ कि मैंने अपने लिए जो रास्ता चुना है वो आसान नहीं है और छोटा भी नहीं हैं । लेकिन फिर भी मैं यही करना चाहता हूँ । अपने सपने को पाना चाहता हूँ । ऐसा सपना जिसके लिए आप लडते हैं । जैसे आप हमेशा सबसे पहले रखते हैं जो आपके मन में अच्छा बनने की और हमेशा बेहतर करने की इच्छा पैदा करते हैं और ऐसा हर उस छोटे सपने के साथ नहीं है तो मैं देखता हूँ बल्कि उस एक सपने के साथ जो मेरा है । आप जब मैं उसे पूरा कर लूंगा तो मेरे लिए वही सब कुछ होगा जिसके मुझे जीवन में जरूरत है । मुझे विश्वास है कि जो लोग मेरे करीब है वह मुझे समझ पाएंगे । बडे सपने और कोई योजना नहीं । सुनने में बहुत अच्छा लग रहा है । उसके पापा ने व्यंकट दिया । शायद मुझे कहना चाहिए था इस साल में आईआईएम जा रहा हूँ । रणवीर ने भी व्यंग्य से जवाब दिया हाँ तो मैं सच में यही कहना चाहिए था । वो ऐसा सिर्फ इसलिए कह रहा है क्योंकि आपने उसे कहने पर मजबूर कर दिया । अब बेचारे बच्चे को छोड दीजिए । अदा की माने तनाव कम करने की दृष्टि से हस्तक्षेप क्या कुछ बल्कि चुप्पी के बाद अदा की माँ बोली मुझे आशा है तो उस सपने को पूरा कर लो के रनवीर ऍम मेरा मतलब है अंकल ने भी नहीं किया था और अपने बल पर इतना बडा बिजनेस खडा कर लिया । मैं भी आशा करता हूँ आपके अपने सपने के साथ कुछ अच्छा करता हूँ । सब के लिए अदा नहीं । दोस्त के लिए अपना वाइन का ग्लास उठाया था कि रनवीर और उसके पापा का ध्यान दूसरी ओर कर सके । सपने एक साथ जवाब दिया और अपने क्लास तक रहे तो फॅस । अगले पंद्रह मिनट में अदा के बचपन की बातों और उसके शैतानियों की हल्की फुल्की बातों के बीच उन्होंने अपना खाना खत्म कर लिया । रणवीर अपने ऑफिस का किस्से सुनाकर उन्हें खास आता रहा । उसने जानबूझ कर ऐसा किया ताकि शाम एक खुशनुमा नोट पर खत्म हो अदा के मम्मी पापा को या तो छोड कर और उन्हें अल बिना कहकर जब वापस लौट रहे थे तो दोनों के दिमाग में अदा के पापा और रणवीर के बीच की बातचीत बार बार नहीं रही थी और अब पिछले कुछ महीनों में पहली बार उन्हें कार के अंदर की हवा में एक तनाव सा महसूस हो रहा था जिसका कारण आसानी से समझा पाने में दोनों ही असमर्थ थे । लेकिन तनाव था और उसी ने दोनों को इतना शांत रखा हुआ था । वे एक सब तभी बोले बिना रणवीर के फ्लैट पहुंच गए । दोनों ने फ्लैट में प्रदेश किया लेकिन रेलवे का अदा से बात करने का मन नहीं हुआ । अगर का भी वही हाल था रणवीर ने एक अजीब से दूरी बनाई हुई थी जिसकी वजह से उसका भी मूड खराब था जो आधा के पेरेंट्स के साथ एक अनौपचारिक दोस्ताना साडी ना होने वाला था । रणवीत निश्चित रूप से जान गया था कि वो उससे कहीं गंभीर मुद्दा बन गया था । अगर सोच रही थी की खून हुई चीजें जिनके बारे में रणवीर ने चर्चा नहीं की थी, अचानक इतनी महत्वपूर्ण लगने लगी थी और उसे उन पर चर्चा करने की जरूरत महसूस होने लगी थी । उसने गहरी सांस ली और कहा रणवीर तुम बात कि नहीं कर रहे हो, मैं बात नहीं करना चाहता हूँ । बात करने के लिए कुछ है भी नहीं । अच्छा चलो हूँ कितने आत्मसंतुष्ट होगा? हाँ, तुम अच्छी तरह जानते हो के आज तुम अपने असली रूप में नहीं थे । अच्छा सच में तो मैं इस बात का एहसास तुम्हारे पापा के साथ हुई लंबी बातचीत के बाद हुआ । अच्छा ये तो एक साधारण सा दे ना होने वाला खाना नहीं उसकी आंखें कुछ फैल गई । रणबीर मैं नहीं उन्होंने तुमसे तुम्हारी भविष्य की योजनाओं के बारे में कुछ पूछा था । लेकिन तुम तो बात को थोडे बेहतर ढंग से संभाल सकते थे । तुम्हें नहीं लगता हूँ कि आपको मेरे पापा के साथ कुछ ज्यादा ही रुके थे । आधा को उसकी आंखों में गुस्सा दिखाई दिया । भारत दिमाग खराब हो गया है या फिर तुम सिर्फ एक पक्षपाती और पिता के प्यार में अंधी बेटी बन रही हूँ? उसने पूछा, नहीं रखते, मैं तो पक्षपात कर रही हूँ । नहीं, मेरा दिमाग खराब है । मैं ऐसा इसलिए कह रही हूँ क्योंकि मैंने तो मैं अधीर होते देखा था और उनके सवालों पर तुम्हारे जवाब भी सुने थे । अब का सिर हिलाते हुए रणबीर एक गहरी साफ छोडी और बोला, फिर मैं इस बारे में बात नहीं करना चाहता हूँ । आप शायद तुमने अपने पापा को मुझसे ऐसे सवालों और तर्कों से पूछताछ करते नहीं सुना, जो सिर्फ उन्हें सही लग रहे थे । इस पर कुछ गलत नहीं है । उन्हें सिर्फ मेरी चिंता है और मुझे बिलकुल पसंद नहीं है कि मेरे पापा के बारे में कोई ऐसी बात करें । अब तुम समझी, मैं इस बारे में क्यों बात नहीं करना चाहता हूँ । तब उससे ज्यादा ही आत्मसंतुष्ट हो । तब भी तुम कभी नहीं मानोगे कि तुम भी कभी कभी गलत हो सकते हो और मेरे पापा गलत नहीं थे । लिखने से ज्यादा कमाई नहीं होती और कभी नहीं होगी । तुम कौन होती हो मुझे बताने वाली कि मैं गलत हो या सही जब तुम खुद भी अपने पापा के व्यवहार के बारे में बात करते समय पक्षपाती हो जाती हूँ । असल में कम मुझे कितनी अच्छी तरह जानती हूँ । क्या मेरे सब तो की कोई कीमत नहीं है? और सबसे महत्वपूर्ण बात हम यहाँ से कहाँ जा रहे हैं जब तुम अपने पापा के सामने मेरा साथ भी नहीं दे सकती । एक बार फिर चुप्पी छा गई । इस बार और घातक वो जानता था की अदा के पास उसके किसी भी सवाल का जवाब नहीं होगा । लेकिन अत्यंत अहंकारी होने के कारण वो उसके तर्कों को स्वीकार नहीं करेगी । रणवीर कपडे बदल नहीं अपने कमरे में चला गया और उसके बाद पैजामे में बाहर आ गया । उसने देखा की अदा वहाँ नहीं थी उसमें खेती से जहाँ का तो वह कैब में बैठ चुकी थी । जब उसकी नजर एक बार फिर अपने कमरे पर पडी तो उसने दोनों की तस्वीर लगा एक प्रेम देखा और उसे एहसास हुआ कि बहुत से कितना प्यार करता था । पिछले कुछ घंटे किसी ना किसी तरह उसके जीवन पर हमेशा के लिए निशान छोडने वाले थे और वो भी अच्छे कारणों के लिए नहीं
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