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वक्त तेजी से गुजर रहा था । अब तक प्रिया मेरे काफी करीब आ गई थी । एक समय तक हम गौरव अथवा नीतू की कम ही परवाह किया करते थे । एक बात के दौरान प्रिया ने मुझसे कहा वो भी कुछ दिनों तक गौरव से संबंध नहीं तोड पाएगी क्योंकि अभी उसे गौरव की जरूरत है । उसकी गाडी के सहारे आना जाना था । उसका मैंने भेज उसकी इस अपील को स्वीकार कर लिया । मैं जानता था कि गौरव ही एकमात्र शख्स है । उसके आने जाने के लिए अपनी गाडी मुहैया कराता है । मैं बेहद आधुनिक और खुले विचारों वाला इंसान था । मुझे किसी पर पाबंदियां पसंद नहीं थी । चाहे वो दोस्त हो, कल फ्रेंड हो या फिर पत्नी । उस दिन प्रिया बहुत खुश नजर आ रही थी । मुलाकात होते ही वह मेरा हाथ पकडी और मुझे कैंडी लेकर चली गई । मेज पर बैठते हैं, उस करके नहीं लगी । मुझे तो एक रहस्य की बात बताऊँ ऍम मैं चौका तो हस कर कहने लगी तो तुम राज को जानते हो । राज्य ॅ उसकी और देखा । अरे वही जो हमारे साथ प्रैक्टिकल क्या करता है? क्या कॅश छेडा फेरे नहीं यार मुझे होते हुए मेरी और देखा बोली गौरव के अलावा एक लडका और रह करता है ना सीधा साधा गंभीर का लडका हो, वो राज की बात कर रहे हो तुम और नहीं तो क्या बहुत पडी । इसलिए दिनों तक राज के साथ मैंने प्रैक्टिकल किया जरूर था, मगर उस दौरान मुझे एक बार भी कभी हस्ते हैं, मुस्कुराते हुए नहीं देखा । अगर कभी उसके होट खोलते भी थे तो प्रैक्टिकल से जुडे सवाल जवाब को लेकर वरना बस चुप्पी और चुप्पी । उसे दुनियादारी से कोई मतलब नहीं था । हालांकि वह भले ही मेरा बहुत खास दोस्त ना रहा हूँ । उधर अच्छा दोस्त जरूर था । कई बार मुझे उसकी ऐसी छुट्टी पर बहुत गुस्सा आता था । जाॅब प्रिया का गंभीर चेहरा मेरे कानों तक चुका है । कुछ हो जाते हुए बोली मिस्टर राज शिवानी को पसंद करने लगे हैं । यहाँ उसकी बात कानों पर पडी तो मैंने चौंकने का नाटक किया तो तू सच कह रही हूँ और नहीं तो क्या वो धीरे समझ कराई? मैंने खुद अपनी निगाहों से कई बार राजको शिवानी के और छुट्टी छुट्टी नजरों से निहारते हुए देखा है तो शिवानी भी पता नहीं अपना नाखून को देखते हुए बोली । मैंने शिवानी से कभी इस बारे में पूछा तो नहीं लेकिन उम्मीद तो यही है कि शिवानी थी उसे पसंद करती है तो हरी दोनों दोस्त है । उत्तर पूछना उससे मुद्देपर दिलचस्पी दिखाते हुए कहा ठीक है पूछ होगी नहीं नहीं ऍफ पडा उठा प्रिया ये ठीक नहीं तो उसे ऐसा कुछ पूछता हूँ तो वहीं से बुरा लग सकता है । मैं खुद रात से पूछ लूँगा । प्रिया अपनी तर्जनी को मुंह में दबाए हुए मेरी तरफ घूरने लगे ।
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